सभी ज्योतिष मित्रों को मेरा निवेदन हे आप मेरा दिया हुवा लेखो की कोपी ना करे में किसी के लेखो की कोपी नहीं करता, किसी ने किसी का लेखो की कोपी किया हो तो वाही विद्या आगे बठाने की नही हे कोपी करने से आप को ज्ञ्नान नही मिल्त्ता भाई और आगे भी नही बढ़ता , आप आपके महेनत से तयार होने से बहुत आगे बठा जाता हे धन्यवाद ........
जय द्वारकाधीश
मघा देगे धान्य के घर..... गुजरात / मध्य प्रदेश / बिहार / हरियाणा मे अच्छी बारिश होगी.... थोडा वहेला मोड़ा हो सकता है.... लेकिन ज्यादा और अच्छी बारिश होगी ..... ये साल मे शोभन नामका सँवत्सर ज्यादा बारिश देता है....
दिनाक १६ / ०८
के गुरूवार के दिन १७ /५९ /०० मे सूर्य मघा नक्षत्र मे प्रवेश किया है, हाल के
थोडा दिनों से राजस्थान, मध्य प्रदेश और उत्तर भारत मे बहुत जयादा बारिश पडी रही
है, उक्कई डेम पर लगातार चार दिन बारिश पड़ी है, दिनाक ०२/०९ / रविवार की साम से
मुंबई मे और गुजरत के अमुक विश्तारो मे ज्यादा भारे बारिश पड़ने की शुरूआत कर दिया
है, अब थोडाक दिनों मे सोराष्ट – कच्छ मे
बारिश का माहोल जमेगा इस मे कोई शंक नही है.....!
मेरा ब्लोक मे
भी मेरा लेख मैने दिनाक ०३/०८/२०१२ को लिखा था
“ आश्लेषा
नक्षत्र मे भारत के सभी राज्यों मे ये साल सोल आनी बारिश होगी …..!
” उत्तरप्रदेश मे बहुत बारिश पड़ी थी तो
नदिओं मे पुर आया था.....,!
केरल मे भी बहुत भारे बारिश पड़ी थी तो नदिओं की पुर से
भूस्खलन का बनावो बना था......!
और दिल्ही मे भी व्यापक बारिश पड़ी है......,!
राजस्थान
के शेखावटी, झालावाड, प्रतापगठ, मे भी ४ हीच जेशा बारिश पड़ा है....,
अब दिनाक
३०/०८/ को सूर्य पृवा फाल्गुनी मे दोपोर १३/५४ मी को प्रवेश करेगा इस मे भी ज्यादा
बारिश पूरा भारत मे पड़ेगी तो हवामान खता के कहेने पर गुजरात पर साईंकोलोनिक
सरक्युलेशन होने से सोराष्ट – कच्छ – गुजरात मे अमुक विश्तारो मे जयादा अमुक
विश्तारो मे मध्यम बारिश होगी, मैने पहेले
कहा था नदी मे ज्यादा पुर आएगा... तो उत्तरा खंड मे गंगा नदी मे पुर आया और दिल्ही
मे यमुना नदी मे पुर आया वाही सब बारिश मघा नक्षत्र मे पड़ा है अब देखे तो हमारा
गुजरात मे भी नदियों मे पुर आयेगा....!
भारतीय नक्षत्र विग्नान पध्धति अनुशार देखे
तो मघा नक्षत्र मे बारिश होती है तो पृवा फाल्गुनी मे और हस्त मे भी होती है तो
मेरा अनुभव के अनुशार ये तिन नक्षत्र मे रेग्युलर सत्त बारिश होगी इस लिये मेने
बोला था खेडूत लोगो को आप को शियालू - उनालू मे बहुत अच्छा खेती का पाक होगा,
मेरा ब्लोक मे
भी मेरा लेख “ ज्योतिष शास्त्र की
द्रष्टि से नया विक्रम वर्ष २०६८ में केसे घटनाओं बन सकती हे “ मे डीसेम्बर 2011 मे लिखा था श्रावन –
भद्रपद मे अच्छी बारिश होगी लेकिन खेती के लिए खेडू लोगो को बारिश के
पाक का नुकशान पहोचेगा लेकिन शियालू और उनालू पाक और पानी के लिए अच्छा होगा,
मैने
इस लेख मे भी लिखा है अषाठ मे अल्प वृष्टि होगी श्रावण – भद्रपद मे जयादा बारिश
होगी. और अश्विन मॉस मे सुकाल होगा लेकिन अमुक मेरा ज्योतिष मित्रो और यजमान
मित्रो मुझे मोबाईल कर के कहेता था महाराज ये भाद्रपद मे ( मल ) मॉस है आप जूठा पड़ेगे और आप देखे
जन्माष्टमी के नक्षत्र भी लागु नही होता....!
मे मेने कहा कोई बात नहीं...!
पहेला
देखे तो दिनाक १७/०८/ अगस्त्य उदय रात्रि को २१/२५/०० को होता है, वही प्रजा और
देश मे शासनतंत्र के लिये भय देता है, एषा अशुभ है, इस के बारे मे शास्त्र मे लिखा
है,
दिन मे उदय अगस्त जग मे भय उपजाता !
भादो मे बुध उदय बारिश खूब देता !!
सब लोगो के मन
मे सिर्फ एकी सवाल है के ( मल ) भद्रपद मे बारिश होती है या नही ?
तो दुतीय भद्रपद
मे दिनाक ०४/१०/ को गुरु वक्री और बुध का उदय पश्चिम मे है,
वही मैने ऊपर लिखा
जेसे देश मे किसी जगा पर खूब ज्यादा प्रमाण मे बारिश होती है,
इसे पहेला बारिश न
पड़े एषा मेरा कहेना नही है, भुर पवन के बारे मे एक एशि कहावत है “ पहेली भूर देती है पुर “ इस लिए सब की नजर भुर पवन कब शुरू होता
है,
देखे तो एक
हककत सत्य है, वही तो स्वीकार ना पड़ता है, बारिश के योग होती है और अनुरूप
नक्षत्र होता है,
बादल होता है, और बादल मे पानी होता है, और पवन बादल के अनुरूप
दबान करने वाला हो तो लो प्रेशर बनता है,
तो भी किसी जगा पर बारिश किसी जगा पर
बारिश नही होती तो सब ताला की चावी “ कुदरत “ इसका हाथो अगत रखता है,
मेरे वतन
सोराष्ट्र – कच्छ के लोग मल मास होने के कारण दुष्काल कहेते है,
लेकिन मल मास मे
ही दुष्काल होना जरुरी नही है,
जब पहेले मेरे वतन सोराष्ट्र – कच्छ मे उपरा उपरी
दुष्काल का अनुभव ये सालो वि.सवंत. साल २०४५, २०४६, २०४७, २०५२, २०५३, २०५४, हो
चूका था
तब दुष्काल ग्रह योग भी अलग था, क्युकी तब मेरा वतन नही पूरा गुजारत,
राजस्थान, मध्यप्रदेश और उत्तर प्रदेश को भी अनुभव मिला है,
ये साल के ग्रह योग
दुष्काल के अनुरूप नही है,
मेरा अनुभव और अनुमान से जरुर “ भगवान् द्वारकाधीश “ जरुर मेरे वतन सोराष्ट्र – कच्छ और पुरे गुजरात मे
बारिश होगी,
ये चालु साल मे देखे तो पीछली पुराणी सालो मे एषा ही बना था,
जो श्रवण
मास तक बारिश नही पड़ती और बारिश के पाक खेडूओ का निष्फल जाता है,
वि.सवंत साल
२०३५, २०३६, २०४१, २०४२, २०५५, २०५६, २०६६, २०६७, इन सब सालो मे श्रावण मास के बाद
बारिश होती है, और बारिश के मोसम का पाक निष्फल जता है, शियालू और उनालू पाक मे
बहुत अच्छा हॉता है,
सब भगवान् मेरा
नाथ “ द्वारकाधीश “ अच्छा करेगे आप वाही चिंता मत करे.....
मेरा अनुभव
के अनुशार में अब भी कहेता हु
ये साल पूरा
सोल आनी वर्ष है....
इस मे कोई संक नही है....
मे अंत मे ये भी कहेता हु दिनाक
३०/०८/ से दिनाक २६/०९/ तक मे हरियाणा बिहार राजस्थान मुंबई मध्य प्रदेश बिहार और
गुजरात मे ज्लबम्बकार होगा....
आपका अपना पंडित प्रभुलाल पी. वोरिया क्षत्रिय
राजपूत जडेजा कुल गुरु का “ जय द्वारकाधीश “ PANDIT PRABHULAL P. VORIYA RAJPUT JADEJA KULL
GURU :-
PROFESSIONAL ASTROLOGER EXPERT IN:-
-: 1987 YEARS ASTROLOGY EXPERIENCE :-
SHREE SARSWATI JYOTISH KARYALAY
(2 Gold Medalist in Astrology & Vastu Science)
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" Shri Albai Nivas ", Near Mahaprabhuji bethak,
Opp. S.t. bus steson , Bethak Road,
Jamkhambhaliya - 361305 Gujarat – India
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आप इसी नंबर पर संपर्क/सन्देश
करें...धन्यवाद..
नोट ये मेरा शोख नही हे मेरा जॉब हे कृप्या आप मुक्त सेवा के लिए कष्ट ना दे
.....
जय द्वारकाधीश..